EPS 95 Pension: स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (SAIL) के एक वरिष्ठ अधिकारी, दिनेश कुमार सोनी के साथ एक असाधारण प्रशासनिक समस्या उत्पन्न हुई है, जिसने उनके निर्विवाद सेवा रिकॉर्ड को अचानक गायब कर दिया है। सोनी, जिन्होंने 1990 में भिलाई स्टील प्लांट में कार्य आरंभ किया, का सेवा विवरण वर्ष 2013 तक पूरी तरह से उपलब्ध है, परंतु इससे पूर्व का कोई भी रिकॉर्ड प्रणाली में दर्ज नहीं है।
रिकॉर्ड की गुमशुदगी की गूढ़ता
दिनेश कुमार सोनी का करियर भिलाई से राउरकेला और फिर वापस भिलाई में स्थानांतरण के साथ बदलता रहा है। हालांकि, उनके वापसी के बाद से केवल 2013 के बाद का रिकॉर्ड ही उपलब्ध है, जबकि उनकी सेवा के 23 वर्षों के दस्तावेज गायब हैं। इस गलती ने उनकी पेंशन और अन्य लाभों की प्रक्रिया को जटिल बना दिया है।
पेंशन की समस्याएं
सोनी की पेंशन सक्रियण की प्रक्रिया में यह अड़चन एक बड़ी बाधा बन चुकी है। 2022 में उनकी पेंशन आरंभ होनी चाहिए थी, परन्तु रिकॉर्ड की अनुपस्थिति के कारण वे इसे लागू करने में असमर्थ हैं। EPFO में उनके मामले को लेकर उत्पन्न अनिश्चितता ने विभागीय अधिकारियों को भी चिंतित कर दिया है।
अधिकारी की विकट स्थिति
इस वर्ष के अंत में सोनी की आसन्न रिटायरमेंट के साथ, समय की कमी ने स्थिति को और अधिक तनावपूर्ण बना दिया है। उनके पास अब महज कुछ महीने बचे हैं, और अगर उनके रिकॉर्ड नहीं मिले तो उन्हें उनकी पेंशन समेत अन्य लाभों को प्राप्त करने में कठिनाई हो सकती है।
निष्कर्ष
दिनेश कुमार सोनी का मामला सिस्टम की खामियों को उजागर करता है, और यह दर्शाता है कि किस तरह से डिजिटल युग में भी दस्तावेजी गलतियां व्यक्तियों के जीवन पर गहरा प्रभाव डाल सकती हैं। यह मामला न केवल सोनी के लिए बल्कि संस्थागत प्रणालियों के लिए भी एक महत्वपूर्ण सबक है।