NSC नियमों में संशोधन को लेकर सरकार ने जारी किए आदेश, 1 अक्टूबर से योजना पर नही मिलेगा ब्याज, जाने पूरी खबर

केंद्र सरकार ने 1 अक्टूबर 2024 से राष्ट्रीय बचत योजना (NSC) में संशोधन किया है, जिसके तहत खातों पर अब कोई ब्याज नहीं मिलेगा। इससे निवेशकों को अन्य निवेश विकल्पों पर विचार करना होगा और अपनी वित्तीय रणनीति बदलनी होगी।

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Written by Rohit Kumar

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1 अक्टूबर से NSC पर नही मिलेगा ब्याज, नियमों में संशोधन को लेकर आदेश जारी

NSC: भारत सरकार ने 1 अक्टूबर, 2024 से राष्ट्रीय बचत योजना (NSC) के नियमों में महत्वपूर्ण बदलावों की घोषणा की है। इन संशोधनों का उद्देश्य योजना को अधिक पारदर्शी और निवेशकों के लिए स्पष्ट बनाना है। यह कदम 29 अगस्त, 2024 को वित्त मंत्रालय द्वारा अधिसूचित किया गया और 5 सितंबर, 2024 को एक आधिकारिक गैजेट नोटिफिकेशन के माध्यम से लागू किया गया।

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इस लेख में, हम इन नए नियमों, उनके प्रभाव, और निवेशकों के लिए आवश्यक कदमों की विस्तृत जानकारी प्रस्तुत कर रहे हैं।

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संशोधित नियमों की जानकारी

  1. 1 मार्च 2003 से 1 अक्टूबर 2024 तक का नियम
    इस अवधि में राष्ट्रीय बचत योजना (NSC) के खातों पर प्रति वर्ष 7.5% की दर से ब्याज प्रदान किया जाता था। यह ब्याज हर महीने की 10वीं तारीख से लेकर माह के अंत तक की न्यूनतम शेष राशि पर आधारित होता था। निवेशक इस ब्याज के माध्यम से अपनी बचत पर एक सुनिश्चित आय अर्जित करते थे।
  2. 1 अक्टूबर 2024 के बाद का प्रावधान
    1 अक्टूबर, 2024 से लागू होने वाले नए नियमों के तहत, NSC के खातों पर कोई ब्याज नहीं मिलेगा। इसका अर्थ यह है कि अब निवेशक इस योजना में अपनी जमा राशि पर किसी प्रकार का रिटर्न प्राप्त नहीं करेंगे। यह नियम सभी खाताधारकों पर समान रूप से लागू होगा, चाहे उनके खाते में कितनी भी राशि हो।
  3. 1987 के राष्ट्रीय बचत योजना नियमों में संशोधन
    1 मार्च 2003 को जारी अधिसूचना को निरस्त करते हुए, अब NSC खातों में शेष राशि पर कोई ब्याज नहीं मिलेगा। यह बदलाव सभी नए और पुराने खाताधारकों पर समान रूप से लागू होगा। साथ ही, पुराने नियमों के अंतर्गत की गई ब्याज गणना को भी नए नियमों के अनुसार संशोधित किया जाएगा।

संशोधन के प्रभाव

इन संशोधनों से निवेशकों पर सीधा प्रभाव पड़ेगा, विशेष रूप से उन लोगों पर जिन्होंने अपने भविष्य के वित्तीय लक्ष्यों के लिए NSC में निवेश किया था। अब उन्हें योजना से कोई ब्याज प्राप्त नहीं होगा, जिससे उनकी आय में कमी आ सकती है।

उन्हें अब अपने निवेश विकल्पों पर पुनर्विचार करने और बेहतर रिटर्न प्राप्त करने के लिए अन्य निवेश योजनाओं की तलाश करने की आवश्यकता होगी। म्यूचुअल फंड्स, बैंकों की सावधि जमा (FD), या सरकारी बॉन्ड जैसे विकल्प अब उनके लिए एक संभावित समाधान हो सकते हैं।

डाक विभाग के जरूरी निर्देश

सरकार द्वारा किए गए इन संशोधनों को लागू करने के लिए डाक विभाग ने विशेष निर्देश जारी किए हैं। इन निर्देशों के तहत निम्नलिखित कदम उठाए जाएंगे:

  1. सार्वजनिक जागरूकता: सभी डाकघरों में इस अधिसूचना को प्रमुखता से प्रदर्शित किया जाएगा जिससे आम जनता को समय पर जानकारी प्राप्त हो सके।
  2. विशेष अभियान: स्थानीय स्तर पर विशेष जागरूकता अभियान चलाए जाएंगे, जिससे लोग इन बदलावों के बारे में जानकारी मिल सकें।
  3. व्यक्तिगत सूचनाएं: जिन निवेशकों के खाते इस योजना में हैं, उन्हें व्यक्तिगत रूप से सूचित किया जाएगा और उन्हें अपने भविष्य के निवेश योजनाओं के बारे में सहायता प्रदान की जाएगी।

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