क्या आपको कभी ऐसा लगा है कि आपके प्रोविडेंट फंड (PF) से जुड़ी जानकारियां अधूरी या भ्रामक हैं? जब आपने अपनी कंपनी छोड़ी तो क्या आपको पता चला कि आपकी सैलरी से कटने वाला PF का कुछ हिस्सा वास्तव में आपके खाते में जमा ही नहीं हुआ था? यदि हां, तो आपकी इस समस्या का समाधान निकट भविष्य में होने जा रहा है, क्योंकि EPFO अब एक नई डिजिटल व्यवस्था के माध्यम से समय-समय पर अपडेट प्रदान करने का आश्वासन दे रहा है।
बता दें , कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने हमेशा ही अपने सदस्यों को उनके मासिक PF बकाए की जानकारी दी है, जिसे वे अपनी कंपनी के HR या वित्त विभाग से वेरिफाई कर सकते हैं। हालांकि, अब इस प्रक्रिया को और अधिक विस्तृत और नियमित बनाने की योजना है।
डिजिटल पहल के माध्यम से सुधार
इस मामले पर शुक्रवार को केंद्रीय मंत्री मनसुख मांडविया ने EPFO के अधिकारियों के साथ एक बैठक में निर्देश दिया कि एक सुदृढ़ डिजिटल प्रणाली विकसित की जाए, जिससे कि सभी सदस्यों को उनकी PF कटौतियों के बारे में नियमित रूप से जानकारी दी जा सके।
इस पहल से PF कटौतियों में पारदर्शिता आने के साथ-साथ नियोक्ता और कर्मचारी के बीच विश्वास भी मजबूत होगा। श्रम और रोजगार मंत्रालय ने यह भी घोषणा की है कि यह डिजिटल सिस्टम कर्मचारियों को उनकी सैलरी से की जाने वाली PF कटौती के बारे में समय-समय पर सटीक जानकारी प्रदान करेगा।
PF और आपका CTC
PF की गणना कर्मचारी की सैलरी के बेसिक पे और हाउस रेंट अलाउंस (HRA) को मिलाकर की जाती है। आपकी ग्रॉस सैलरी का 12 प्रतिशत हिस्सा PF में जाता है और यही प्रतिशत कंपनी द्वारा भी जमा किया जाता है, जो कुल मिलाकर 24 प्रतिशत होता है। इसमें से एक हिस्सा पेंशन अकाउंट में भी जाता है, जिससे आपकी सेवानिवृत्ति के बाद की सुरक्षा सुनिश्चित होती है।
पीएफ प्रणाली में बढ़ेगी पारदर्शिता
यह नई डिजिटल व्यवस्था कर्मचारियों को उनके वित्तीय अधिकारों की बेहतर समझ प्रदान करेगी और PF प्रणाली में गुणवत्ता और पारदर्शिता को बढ़ावा देगी। इससे कर्मचारियों को उनके अधिकारों के प्रति सजग रहने में मदद मिलेगी और वे अपने वित्तीय भविष्य के लिए और अधिक प्रभावी ढंग से योजना बना सकेंगे।